
IPL 2025 में रॉयल चैलेंजर्स बेंगलुरु (RCB) को चैंपियन बनाने वाले यश दयाल अब क्रिकेट के मैदान से हटकर कोर्ट की पिच पर चर्चा में हैं।
जहाँ एक तरफ उनकी यॉर्कर ने बैट्समैन की कमर तोड़ी, वहीं दूसरी तरफ एक महिला ने उनके खिलाफ पांच साल तक यौन शोषण का आरोप लगाकर FIR दर्ज करा दी।
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इलाहाबाद हाईकोर्ट का बाउंसर: “5 साल तक मूर्ख?”
इलाहाबाद हाईकोर्ट की डबल बेंच (जस्टिस सिद्धार्थ वर्मा और अनिल कुमार) ने गिरफ्तारी पर रोक लगाते हुए बिल्कुल IPL एक्सपर्ट पैनल टोन में कहा:
“एक-दो दिन तक मूर्ख बनाया जा सकता है… लेकिन 5 साल? कोई इतने समय तक रिश्ते में रहकर धोखा खा सकता है क्या?”
कोर्ट की इस टिप्पणी के बाद यश दयाल को अस्थायी राहत जरूर मिली, लेकिन मैच अभी बाकी है, दोस्त!
एफआईआर से हाईकोर्ट तक: पूरा मामला क्या है?
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6 जुलाई को इंदिरापुरम थाने में FIR दर्ज
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महिला का आरोप: यश ने शादी का झांसा देकर यौन संबंध बनाए
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बीच में टालमटोल होती रही शादी की बात
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महिला को यश के अन्य संबंधों की जानकारी मिली
दयाल की तरफ से वरिष्ठ वकील गोपाल स्वरूप चतुर्वेदी, गौरव त्रिपाठी और रघुवंश मिश्रा ने कोर्ट में मोर्चा संभाला।
जांच जारी, लेकिन गिरफ्तारी नहीं
गाजियाबाद पुलिस की जांच अभी भी चल रही है। हाईकोर्ट की टिप्पणी से पुलिस को “Slow Bouncer” डालनी पड़ी है, लेकिन केस का अगला ओवर जल्द ही कोर्ट में सामने आ सकता है।
क्रिकेटर या किरदार?
यश दयाल जैसे उभरते खिलाड़ियों के लिए यह मामला इमेज और करियर दोनों के लिए अहम मोड़ हो सकता है।
क्या ये एक और “मी टू मामला” है जो सच या छल का हिस्सा है?
या ये क्रिकेट की दुनिया में न्याय बनाम नैरेटिव की अगली कहानी है?
“RCB को चैंपियन बनाया, खुद को बचाना बाकी है”
जिस तरह IPL में गेंदें यॉर्कर डालकर बल्लेबाज़ों को चौंका दिया, उसी तरह अब कोर्ट की गेंदें यश को “जमानती रन” दिला रही हैं।
फैंस कह रहे हैं – “RCB के लिए ट्रॉफी लाई, अब खुद के लिए वकील लाओ भाई!”
आगे क्या?
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कोर्ट की निगरानी में केस की पुन: सुनवाई संभव
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महिला के आरोपों की फॉरेंसिक पुष्टि और गवाहों की जांच
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यश की पेशेवर छवि पर असर
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BCCI की नज़र भी ज़रूर होगी
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